ITR Filing 2025: इस तारीख तक भर दें आईटीआर रिटर्न, वरना जुर्माने के साथ जाना पड़ सकता है जेल

ITR Filing 2025: इनकम टैक्स कानून के मुताबिक अगर कोई करदाता 15 सितंबर 2025 तक रिटर्न दाखिल नहीं करता, तो उसे जुर्माना देना होगा। धारा 234F के तहत जिनकी आय 5 लाख रुपये से अधिक है, उन्हें 5,000 रुपये तक का जुर्माना देना होगा। वहीं 5 लाख रुपये से कम आय वालों पर अधिकतम 1,000 रुपये की पेनल्टी लगेगी। जिनकी आय टैक्सेबल लिमिट से कम है, उन पर जुर्माना नहीं लगेगा। लेकिन अगर विदेशी आय या अन्य कारणों से रिटर्न दाखिल करना जरूरी है और ऐसा समय पर नहीं किया गया तो मुश्किल बढ़ सकती है।

इसे भी पढ़ें- Toyota Innova Crysta हुई सस्ती, जानें अब कितने का होगा फायदा

टैक्स बकाया पर अतिरिक्त ब्याज

ITR Filing 2025

अगर करदाता के ऊपर कोई टैक्स बकाया है और उसने समय पर रिटर्न दाखिल नहीं किया, तो उस पर धारा 234A के तहत हर महीने या उसके हिस्से पर 1% ब्याज देना होगा। यह ब्याज जुर्माने के अतिरिक्त देना पड़ता है, जिससे करदाता की जेब पर भारी असर पड़ता है।

कैरी-फॉरवर्ड लॉस का नुकसान

बिजनेस या निवेशकों के लिए सबसे बड़ा नुकसान यह है कि अगर समय पर रिटर्न फाइल नहीं किया गया तो कैपिटल लॉस को अगले साल एडजस्ट करने का हक खत्म हो जाता है। यानी अगर भविष्य में मुनाफा होता है तो पुराने घाटे को घटाकर टैक्स बचाने का मौका हाथ से निकल जाएगा।

रिफंड में देरी और कानूनी कार्रवाई का खतरा

अगर करदाता का टैक्स ज्यादा कटा है और उसे रिफंड मिलना है तो लेट फाइलिंग की वजह से उसका पैसा देर से मिलेगा। वहीं अगर कोई जानबूझकर रिटर्न दाखिल नहीं करता है तो विभाग मुकदमा कर सकता है। गंभीर मामलों में 3 महीने से लेकर 2 साल तक की जेल की सजा का प्रावधान है। हालांकि यह सिर्फ हाई-इनकम और धोखाधड़ी वाले मामलों में ही लागू होता है।

इसे भी पढ़ें- SBI Clerk Prelims Admit Card 2025: एडमिट कार्ड जल्द होगा जारी, जानें कैसे करें डाउनलोड

क्या डेडलाइन के बाद भी रिटर्न भर सकते हैं?

ITR Filing 2025

यदि करदाता 15 सितंबर की डेडलाइन चूक जाते हैं, तो भी 31 दिसंबर 2025 तक बेलटेड रिटर्न भर सकते हैं। लेकिन इसके साथ जुर्माने, ब्याज और वित्तीय नुकसान का सामना करना पड़ेगा। सरकार इस बार डेडलाइन बढ़ाने के मूड में नहीं है, जब तक कि कोई बड़ा तकनीकी मुद्दा सामने न आए।

Leave a Comment